Ranchi:190 करोड़ रुपये के चर्चित आयरन ओर खनन घोटाले (Iron Ore Mining Scam) से जुड़ी एक अहम अपडेट सामने आई है। ऊषा मार्टिन लिमिटेड (Usha Martin Ltd.) के प्रबंध निदेशक (MD) राजीव झावर (Rajeev Jhawar) ने कोर्ट में अपना पासपोर्ट जमा कर दिया है। हाल ही में वह विदेश यात्रा के लिए कोर्ट से पासपोर्ट लेकर बाहर गए थे।
मामला क्या है?
यह घोटाला 2004-05 में पश्चिमी सिंहभूम जिले के घाटकुरी खदान (Ghatkuri Iron Ore Mine) के आवंटन से जुड़ा है, जिसे ऊषा मार्टिन को दिया गया था। आरोप है कि खदान के आवंटन में षड्यंत्र रचा गया और अनुमोदित सीमा से अधिक खनन कर 190 करोड़ रुपये का आर्थिक घोटाला किया गया।
अब तक की जांच का सिलसिला:
- सितंबर 2016: इस मामले में CBI ने तत्कालीन खनन सचिव अरुण कुमार सिंह, ऊषा मार्टिन के MD राजीव झावर समेत कई के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की थी।
- 2021: मामले में प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने मनी लॉन्ड्रिंग की आशंका को लेकर अलग से प्राथमिकी दर्ज की।
- 2023: CBI ने अपनी जांच पूरी कर कोर्ट में चार्जशीट दाखिल की।
- 2025: अब राजीव झावर द्वारा पासपोर्ट जमा किए जाने के बाद यह मामला एक बार फिर चर्चा में है।
CBI और ED की कार्रवाई
राजीव झावर इस पूरे मामले में CBI और ED दोनों के आरोपी हैं। ईडी इस बात की भी जांच कर रही है कि घाटकुरी खदान से हुए अवैध खनन से अर्जित धन को किस तरह से सफेद किया गया।







