पूर्वी सिंहभूम । राज्यपाल सह कुलाधिपति संतोष गंगवार ने कहा है कि राज्य की बेटियां अपनी प्रतिभा और दृढ संकल्प को अपनी शक्ति बनाएं। कुलाधिपति ने यह बातें पूर्वी सिंहभूम (जमशेदपुर) के महिला विश्वविद्यालय के द्वितीय दीक्षांत समारोह को संबोधित करते हुए कही।
दीक्षांत समारोह में 32 छात्राओं को गोल्ड मेडल दिया गया, जिसमें से 26 पीजी और 6 यूजी की छात्राएं शामिल थीं।
इस अवसर पर कुलाधिपति सह राज्यपाल ने वहां फूलो-झानो छात्रावास एवं दामोदर सीनेट हॉल का भी उद्घाटन किया।
इस मौके पर उन्होंने सभी डिग्री प्राप्त करने वाली बेटियों को बधाई दी। उन्होंने कहा कि आपको अपनी इस शिक्षा का उपयोग समाज और राष्ट्र के निर्माण में करना है। शिक्षा का उद्देश्य केवल डिग्री हासिल करना नहीं, बल्कि ज्ञान हासिल कर, उस ज्ञान का समाज और राष्ट्र के कल्याण में उपयोग करना है।
उन्होंने कहा कि आप सब अपने अर्जित ज्ञान और कौशल का उपयोग कर समाज के विकास में अपनी भूमिका निभाएं। मुझे यह जानकर अत्यंत प्रसन्नता हो रही है कि जमशेदपुर महिला विश्वविद्यालय का कोल्हान क्षेत्र में एक विशेष स्थान रखता है। एक इंटरमीडिएट कॉलेज के रूप में अपनी शुरुआत से लेकर एक पूर्ण विश्वविद्यालय के रूप में विकसित होने तक यह संस्थान महिला सशक्तिकरण और बालिकाओं को उच्च शिक्षा हासिल करने के लिए प्रेरित करने की दिशा में सार्थक भूमिका का निर्वहन कर रहा है। राज्य में महिलाओं की शिक्षा और उनकी सामाजिक-आर्थिक प्रगति अत्यंत आवश्यक है और हर्ष का विषय है कि यह विश्वविद्यालय इस दिशा में महत्वपूर्ण योगदान दे रहा है।
1962 में महान दूरदर्शी एवं परोपकारी भारत रत्न जेआरडी टाटा ने कॉलेज को शहर के मध्य में विशाल मैदान के साथ भवन उपलब्ध कराया। बुनियादी ढांचे के साथ कॉलेज ने अपने अहम विकास चरण में प्रवेश किया। महिला शिक्षा के संदर्भ में वे सभी महान व्यक्ति स्मरण किए जाएंगे जिन्होंने शिक्षा विशेषकर महिला शिक्षा और सामाजिक विकास को नया आयाम दिया।
राज्यपाल ने कहा कि वैश्वीकरण के इस युग में हमारे विश्वविद्यालय परिवार के सभी सदस्यों को हमारी लड़कियों को सर्वोत्तम संभव शिक्षा प्रदान करने के लिए प्रतिबद्ध रहना चाहिए। हमारा उद्देश्य ऐसा माहौल बनाना होना चाहिए जहां विश्वविद्यालय को हमारे राज्य और देश भर में लड़कियों की उच्च शिक्षा के लिए एक आदर्श केंद्र के रूप जाना जाय।