पटना। बिहार में जातीय जनगणना का दूसरा चरण शनिवार यानी 15 अप्रैल से शुरू होने वाला है। दूसरे चरण की गणना 15 मई तक चलेगी। मुख्य रूप से 17 बिंदुओं पर परिवार के मुखिया से जानकारी ली जाएगी। इसको लेकर सभी गणना कर्मियों और प्रवेशकों को फॉर्मेट दे दिया गया है।
सामान्य प्रशासन विभाग से प्राप्त जानकारी के मुताबिक दूसरे चरण की गणना के लिए पटना जिले में सिर्फ 12,741 गणना कर्मी और 2,140 मजिस्ट्रेट नियुक्त किए गए हैं। इन सभी लोगों को पटना जिलाधिकारी ने सभी तरह की जानकारी उपलब्ध करा दी है। डीएम ने स्पष्ट कहा है कि दूसरे चरण का काम मोबाइल ऐप, गणना को लेकर दिए फ्रॉम के साथ ही साथ ऑनलाइन पोर्टल के माध्यम से भी होना है। इसको लेकर सभी कर्मियों को ट्रेनिंग दी जा चुकी है। इसके बाद अब कल से गणना शुरू करवा दी जाएगी।
इसके साथ ही साथ दूसरे चरण की गणना में जो आंकड़े आएंगे उसका मिलान सही तरीके से करके ही मोबाइल ऐप या पोर्टल पर अपलोड करना होगा। जाति जनगणना के सही रूप से संचालन को लेकर पटना जिला में 11 कोषांग का गठन किया गया है। इस गणना को लेकर तय किए कोड को लेकर अंतरराष्ट्रीय वैश्य महा सम्मेलन के बिहार अध्यक्ष ने कहा कि, बिहार सरकार को राज्य के अंदर रह रहे 56 उपजातियों के लिए एक तरह का कोड निर्धारण करना चाहिए। इन सभी लोगों को कोड 122 में शामिल करना चाहिए।
उन्होंने कहा कि, संगठन का एक प्रतिनिधिमंडल राज्यपाल, मुख्यमंत्री, उपमुख्यमंत्री व सामान्य प्रशासन विभाग के प्रधान सचिव से मिल कर ज्ञापन सौंपेगा।
उल्लेखनीय है कि जाति जनगणना को लेकर इस बार सभी चीजों का एक कोड निर्धारित किया गया है,जिसके अनुसार जाति, सैलरी, आवास, वाहन समेत तमाम चीजों का एक कोड निर्धारित किया गया है। बिहार सरकार के तरफ से घर में शिक्षक लोगों की पढ़ाई लिखाई को लेकर भी एक कोड निर्धारित किया गया है। इसी कोड के माध्यम से मतदान कर्मी में जनगणना कर अपना आंकड़ा पेश करेंगे।