धनबाद । झारखंड हाई कोर्ट के चीफ जस्टिस संजय कुमार मिश्र की अध्यक्षता वाली खंडपीठ में गुरुवार को बहुचर्चित धनबाद के जज रहे उत्तम आनंद की मौत मामले में कोर्ट के स्वत: संज्ञान पर सुनवाई हुई। खंडपीठ ने सीबीआई को निर्देश दिया है कि वह मामले में वृहत षड्यंत्र को देखते हुए इंटरपोल से मदद लेने के मामले में केंद्र सरकार के गृह मंत्रालय से अनुमति मांगी गई थी, उसकी अद्यतन स्थिति क्या है। कोर्ट ने मामले की अगली सुनवाई 18 मई निर्धारित की है।
अदालत ने सीबीआई से पूछा है कि व्हाट्सएप चैट हासिल करने के लिए गृह मंत्रालय से अनुमति मिली है या नहीं। गृह मंत्रालय में इसकी प्रक्रिया अब तक कहां पहुंची है। पूर्व की सुनवाई के दौरान सीबीआई की ओर से बताया गया था कि व्हाट्सएप का मुख्यालय यूएसए में है, जहां से व्हाट्सएप चैट लाने के लिए इंटरपोल की मदद ली जाएगी। इसके लिए गृह मंत्रालय से अनुमति मांगी गई है।
सीबीआई ने कोर्ट में स्टेटस रिपोर्ट दायर कर बताया गया था कि मामले के दो अभियुक्तों को उम्र कैद की सजा दी गई है। धनबाद सीबीआई की विशेष अदालत ने छह अगस्त 2022 को दोषी राहुल वर्मा और लखन वर्मा को उम्र कैद की सजा सुनाई थी। साथ ही कोर्ट ने दोषियों पर 25-25 हजार रुपये का जुर्माना भी लगाया था।