हजारीबाग। छड़वा मुहर्रम मैदान में दसवीं के मौके पर आयोजित मेले का जुलूस व मेला एक बार फिर अमन, पाकीज़गी, अकीदत व एहतराम के साथ सम्पन्न हो गया। मेले मे अकीदतमंदों का जनसैलाब उमड़ पड़ा था।
इस दौरान विभिन्न अखाड़े व कमिटियों द्वारा न सिर्फ गगनचंबी निशान व रंग बिरंगे खूबसूरत इस्लामिक अलम और आकर्षक ताजिए निकाले गए। बल्कि खिलाड़ियों ने पारंपरिक हथियारो व औजारों से खेल का हैरत अंगेज प्रदर्शन भी किया। मेले में पहुंचे नक्काशीदार निशान, अलम व आकर्षक ताजिए ने लोगों को खूबसूरती का एहसास कराया। जुलूस में आसपास के क्षेत्रों के करीब 24 गांव के अखाड़े एक एक कर मेले में शामिल हुए। जुलूस में शामिल अकीदतम़दों ने ढोल, ताशे व बैंड बाजे के साथ ‘या अली या हुसैन’ के नारे की सदा फिजा में गूंजती रही।
यौम-ए-आशूरा के रोज गम-ए-शहादत के इस मुहर्रम पर्व को लेकर मुस्लिम समुदाय के हर उम्र के लोगों में जोश व ज़ज्बा दिखा। जनसैलाब का आलम यह था कि जुलूस के दौरान हजारीबाग-कटकमसांडी मुख्य मार्ग घंटो अवरुद्ध रहा। मेले में रोमी, खुटरा, पबरा, डुकरा, मंडई, हेदलाग, गोविंदपुर, जैलमा, गदोखर, बलियंद, डांड़, पिचरी, नवादा, लुपुंग, सारुगारू, सुलमी, भुसुवा (इचाक) सहित 24 गावों का जुलूस मेले में शामिल हुए। बड़ी संख्या में पहुंचे बच्चे, महिला व युवाओं ने मेले का आनंद उठाया।